वर्ष 2024 में 25 मई को रंगों का त्यौहार होली मनाई जाएगी। होली के त्यौहार से पहले होलाष्टक मनाया जाता है। होलाष्टक के सात दिन बाद होलिका का दहन होता है। आठवें दिन होली मनाई जाती है। रविवार यानी 17 मार्च से होलाष्टक की शुरुआत हो चुकी है। जानकारी के अनुसार होलाष्टक में कई कार्य वर्जित होते हैं। पंडितों का कहना है कि होलाष्टक में विवाह समारोह, गृह प्रवेश, मुंडन, नामकरण संस्कार, विद्यारंभ संस्कार, घर का निर्माण, वाहन खरीदी जैसे शुभ कार्य वर्जित रहते हैं।
होलाष्टक के समय वर्जित कार्य
पंडितों का कहना है कि होलाष्टक के समय बिना वजह इधर-उधर नहीं जाना चाहिए। यात्रा और भ्रमण से बचना चाहिए, क्योंकि होलाष्टक के दौरान विभिन्न प्रकार की नकारात्मक शक्तियां प्रवाहित होती रहती हैं। नकारात्मक शक्तियां लोगों को अपनी तरफ आकर्षित करती हैं। सुगंधित तेल का भी उपयोग नहीं करना चाहिए, क्योंकि होलाष्टक में सुगंधित तेल को वर्जित किया गया है। 17 मार्च की सुबह 9:53 बजे से होलाष्टक की शुरुआत हो चुकी है। 24 मार्च 2024 को होलिका दहन के बाद होलाष्टक का समापन होगा। होलाष्टक में इष्ट की उपासना करनी चाहिए। फाग उत्सव मनाया जाना चाहिए। मंदिरों में देवी देवताओं के साथ होली खेली जानी चाहिए।
होलिका दहन का मुहूर्त कब है?
होली के एक दिन पहले होलिका दहन किया जाता है। इस वर्ष 24 मार्च को होलिका का दहन किया जाएगा। फाल्गुन पूर्णिमा तिथि 24 मार्च को सुबह 9:54 बजे से 25 मार्च को दोपहर 12:29 बजे तक रहेगी। 24 मार्च को सुबह 9:45 बजे से रात को 10:50 बजे तक भद्रा का साया रहेगा। प्रदोष काल में होलिका दहन नहीं किया जा सकेगा। भद्रा के समाप्त होने के बाद होलिका दहन का मुहूर्त है। 24 मार्च की रात में 11:13 बजे से 12:27 बजे तक होलिका दहन होगा।
होली किस दिन मनाई जाएगी?
वर्ष 2024 में होलिका दहन 24 मार्च को है जबकि होली का त्यौहार 25 मार्च को मनाया जाएगा 25 मार्च को रंगों की होली खेली जाएगी। देशभर में धूमधाम और उल्लास के साथ होली का त्यौहार मनाया जाएगा।