हरियाणा में तेजी से राजनीतिक घटनाक्रम बदला है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने पद से इस्तीफा दे दिया है। खट्टर के इस्तीफे के बाद विधायक दल की बैठक हुई। बैठक में कुरुक्षेत्र से भाजपा सांसद नायब सिंह सैनी को नेता चुना गया। 54 साल के नायब सिंह ने राज्यपाल से मुलाकात की। सरकार बनाने का दावा पेश किया। शाम को शपथ ग्रहण समारोह का आयोजन किया गया।
नायब सिंह सैनी ने हरियाणा के 11वें मुख्यमंत्री के पद की शपथ ली। शपथ से पहले उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के पैर छुए। सैनी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का आभार माना।
भाजपा और जननायक जनता पार्टी का गठबंधन टूटने के बाद खट्टर ने राज्यपाल को इस्तीफा सौंपा। खट्टर के इस्तीफा के बाद विधायक दल की बैठक बुलाई गई। वहीं दिल्ली में जननायक जनता पार्टी के विधायकों की बैठक हुई। 10 में से पांच विधायक बैठक में मौजूद नहीं रहे। बताया जा रहा है कि जननायक जनता पार्टी के आधे विधायक भाजपा के संपर्क में हैं।
खट्टर के इस्तीफा की कई वजह बताई जा रही है। खट्टर हरियाणा में 10 साल से मुख्यमंत्री थे। उनके खिलाफ एंटी इनकंबेंसी का डर था। सांसद बृजेंद्र सिंह के भाजपा छोड़ने के बाद जाट समर्थकों के कांग्रेस में जाने का डर सता रहा था। शिवराज सिंह चौहान की तरह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खट्टर को केंद्र में लाना चाह रहे थे। अब मनोहर लाल खट्टर को केंद्र में नई जिम्मेदारी मिल सकती है।